जम्मू कश्मीर से धारा 370 खत्म कर दी गई है अब सिर्फ लहराया जाएगा तिरंगा।


जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को खत्म करने के फैसले पर केंद्र सरकार ने अपनी मुहर लगा दी है। गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने राज्यसभा में अनुच्छेद 370 को खत्म करने की सिफारिश की जानकारी दी तो संसद में हंगामा भी हो गया। जिसके मुताबिक जम्मू कश्मीर राज्य से संविधान का अनुच्छेद 370 हटाने और राज्य का विभाजन जम्मू कश्मीर एवं लद्दाख के दो केंद्र शासित क्षेत्रों के रूप में करने का प्रस्ताव किया गया है अधिकार राजनीतिक दल सरकार के इस फैसले का समर्थन कर रहे हैं। फैसले के बाद कश्मीर में कई चीजें बदल जाएंगी। राज्य में अब अलग झंडा नहीं होगा और सिर्फ तिरंगा लहराएगा।

कोर्ट में भी पहुंचा था मामला

जम्मू कश्मीर में अपने झंडे को लेकर पुराना प्रावधान है। 2015 में अलग झंडे का मामला हाईकोर्ट भी पहुंचा था। भाजपा नेता और पूर्व पुलिस अधिकारी फारूख खान ने इसे जम्मू-कश्मीर हाई कोर्ट में चुनौती थी। लेकिन बाद में भाजपा और पीडीपी का राज्य में गठबंधन हो गया है।
कब से है अलग झंडे का प्रावधान

जम्मू -कश्मीर भारत का एकमात्र राज्य है, जिसे अपना ध्वज फहराने का अधिकार प्राप्त है। भारतीय संविधान के अनुच्छेद 370 अंतर्गत विशेष राज्य का दर्जा मिलने की वजह से जम्मू-कश्मीर को यह अधिकार मिला था। बीबीसी  के मुताबिक 1952 में तत्कालीन पीएम जवाहर लाल नेहरू तथा जम्मू-कश्मीर के प्रधानमंत्री शेख मोहम्मद अब्दुल्ला राज्य की शक्तियों को परिभाषित करने वाले समझौते पर राजी हुए थे, जिसके मुताबिक देश के झंडे के रूप में तिरंगा और राज्य के लिए अलग झंडे को मान्यता दी गई और दोनों साथ फहराए गए।
कैसा है  झंडा

जम्मू कश्मीर के इस झंडे के उस पर बना हल कृषि को दर्शाता है। ध्वज पर बनी तीन ऊर्ध्वाधर धारियाँ बनी हैं जो राज्य के तीन भूभागों, जम्मू, कश्मीर घाटी तथा लद्दाख का प्रतिनिधित्व करती हैं। अब लद्दाख और जम्मू कश्मीर केंद्र शासित प्रदेश हो गए हैं। गृह मंत्री अमित शाह ने राज्यसभा में एक संकल्प पेश किया जिसमें कहा गया है कि संविधान के अनुच्छेद 370 के सभी खंड जम्मू कश्मीर में लागू नहीं होंगे। अब यहां ना अलग संविधान होगा और ना ही अलग झंडा। जम्मू कश्मीर पुलिस अब राज्यपाल को रिपोर्ट करेगी।
Previous Post
Next Post

0 comments: